उदाकिशुनगंज,मधेपुरा/ उदाकिशुनगंज प्रखंड अंतर्गत नवसृजित प्राथमिक विद्यालय पूर्व गोढ़ियारी सिंगारपुर में मंगलवार को भारत के प्रथम शिक्षा मंत्री एवं भारत रत्न मौलाना अबुल कलाम आजाद की जयंती राष्ट्रीय शिक्षा दिवस के रूप में श्रद्धा और उत्साह के साथ मनाई गई। कार्यक्रम की शुरुआत चेतना सत्र से हुई, जिसमें विद्यार्थियों ने शिक्षा के महत्व पर अपने विचार व्यक्त किए। साथ ही मौलाना आजाद के जीवन से जुड़े प्रेरणादायी क्षणों की चित्र प्रदर्शनी भी लगाई गई. बच्चों में शिक्षा के प्रति जागरूकता बढ़ाने के उद्देश्य से “बताओ तो जाने” शीर्षक के तहत क्विज और पेंटिंग प्रतियोगिता आयोजित की गई। शिक्षक-शिक्षिकाओं एवं बच्चों ने मौलाना आजाद के चित्र पर पुष्प अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी।
ऑल इंडिया आइडियल टीचर्स एसोसिएशन बिहार के प्रदेश उपाध्यक्ष एवं विद्यालय के प्रधान शिक्षक मंजर आलम ने कहा कि मौलाना आजाद न केवल महान स्वतंत्रता सेनानी थे, बल्कि प्रखर वक्ता, उत्कृष्ट लेखक और दूरदर्शी शिक्षाविद भी रहे। उन्होंने देश में आईआईटी, एआईसीटीई, सीएसआईआर, यूजीसी, साहित्य अकादमी, ललित कला अकादमी, संगीत नाटक अकादमी तथा माध्यमिक शिक्षा आयोग जैसे कई महत्वपूर्ण संस्थानों की नींव रखी। बालिका शिक्षा और चौदह वर्ष तक के बच्चों के लिए अनिवार्य नि:शुल्क शिक्षा को बढ़ावा देने में उनका योगदान अविस्मरणीय है।
उन्होंने यह भी बताया कि आजादी की लड़ाई के दौरान मौलाना आजाद ने अल-हिलाल और अल-बलाग जैसी पत्रिकाओं का संपादन किया था। मात्र 12 वर्ष की आयु में काव्य-कृति लिखने वाले आजाद की प्रतिष्ठित पुस्तकों में इंडिया विंस फ्रीडम प्रमुख है। कार्यक्रम में शिक्षक नूर कौशर, राजेश कुमार राणा, शिक्षिका वीणा कुमारी सहित अन्य शिक्षक-शिक्षिकाएँ उपस्थित रहीं।
वहीं प्रखंड के उत्क्रमित मध्य विद्यालय रामपुर डेहरू हिंदी, उत्क्रमित उर्दू मध्य विद्यालय जोतैली गुलाब टोला, उर्दू मध्य विद्यालय रामपुर डेहरू, उत्क्रमित मध्य विद्यालय जोतैली हिंदी, जोतैली पासवान टोला, नवसृजित प्राथमिक विद्यालय जोतैली मंडल टोला, रहुआ पूर्वी राय टोला, रहुआ रैन टोला पूर्वी, प्राथमिक विद्यालय जोतैली संथाल टोला सहित कई विद्यालयों में भी राष्ट्रीय शिक्षा दिवस विविध कार्यक्रमों के साथ मनाया गया।



