मधेपुरा : महज आठ घंटे बाद ही पुलिस ने अपहृत को किया बरामद

गौरव कबीर/उदाकिशुनगंज, मधेपुरा/ उदाकिशुनगंज अनुमंडल क्षेत्र के चौसा थाना (फुलौत ओपी) क्षेत्र के धनेशपुर गांव से अपहृत रामस्वरूप मंडल (39) को पुलिस ने महज आठ घंटे के अंतराल में सकुशल बरामद कर लिया है। अपहृत की बरामदगी भागलपुर के नवगछिया पुलिस जिले के थाना इस्माइपुर थाना गांव से बरामद हुआ। वहीं से पुलिस ने निलेश कुमार और अशोक बिहारी मंडल नामक दो अपहर्ताओं को भी गिरफ्तार किया है।

अपहर्ता निलेश इस्माइलपुर गांव के दिनेश चौधरी का पुत्र है। जबकि दूसरा उसी गांव के दिवंगत भुजंगी मंडल का पुत्र अशोक बिहारी मंडल है। युवक का अपहरण फिरौती के लिए होना बताया गया है। अपहर्ताओं ने स्वजन से नौ लाख रूपये की फिरौती की मांग की थी। पुलिस की कुशलता से बिना फिरौती की रकम दिए अपहृत को सकुशल बरामद बरामद कर लिया गया है। यह घटनाक्रम 24 दिसंबर का है। जबकि अपहृत के परिजनों ने फुलौत पुलिस को 26 दिसंबर को करीब दो बजे इसकी सूचना दी।

इस मामले में पुलिस ने तुरंत अपहृत की पुत्री पार्वती देवी के शिकायत पर मामला दर्ज कर लिया। दर्ज मामले में अपहरणकर्ता का नाम पता बताया गया।
फुलौत ओपी अध्यक्ष ने पूरे मामले की जानकारी पुलिस के वरीय अधिकारी को दी। जहां एसपी राजेश कुमार ने उदाकिशुनगंज के एसडीपीओ सतीश कुमार के नेतृत्व में अपहृत की बरामदगी के लिए एक टीम गठित किया। टीम में उदाकिशुनगंज के थानाध्यक्ष सह इंस्पेक्टर जयप्रकाश चौधरी, चौसा थानाध्यक्ष किशोर कुमार, फुलौत ओपी अध्यक्ष अनिल यादव, एवं अन्य पुलिस बल को शामिल किया गया।

टीम में शामिल पुलिस अधिकारी ने अपहृत की बरामदगी के लिए अभियान शुरू किया। जहां काफी मशक्कत के बाद पुलिस ने अपहरणकर्ता के ठिकानों का पता लगा लिया। पुलिस अपनी कार्रवाई करते हुए भागलपुर के नवगछिया पुलिस जिला अंतर्गत इस्माइलपुर गांव से एक गुहाल में छुपाकर कर रखे अपहृत को बरामद कर लिया। वहीं दो अपहरण कर्ताओं को भी धर दबोचा।

अपहृत की बरामदगी 26 दिसंबर की संध्या करीब सात बजे हुई। गिरफ्तार अपहरणकर्ता ने पुलिस को दिए बयान में घटना में शामिल होने की संलिप्तता स्वीकार कर ली। वहीं अपहरणकर्ता ने अपहरण की वजह भी बताया।

एसडीपीओ सतीश कुमार ने बताया कि पुलिस की सक्रियता से अपहृत को बरामद कर लिया गया है। वहीं इस घटना में शामिल बदमाशों को भी गिरफ्तार कर लिया गया है। उन्होंने बताया कि इस अभियान में शामिल पुलिस अधिकारियों और जवानों को पुरस्कृत करने की अनुशंसा वरीय पुलिस अधिकारी से की गई है।

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